15 दिनों में अप्रोच नहीं ठीक हुआ तो अनशन

बीएचयू आर्थोपेडिक विभाग के चार जूनियर डॉक्टरों के कोरोना पॉजिटिव मिले हैं। आर्थोपेडिक वार्ड में काम करने वाले दो सफाई कर्मचारी (हाउस कीपिंग) और दो नर्सिंग स्टाफ भी कोरोना पॉजिटिव हैं। मेडिकल स्टाफ के संक्रमित होते ही मंगलवार को ट्रॉमा सेंटर में आर्थो की इमरजेंसी ओपीडी बंद कर दी गई। आर्थोपेडिक विभाग के शेष सभी 13 जूनियर डॉक्टरों को क्वारंटीन कर दिया गया है। कोरोना पॉजिटिव जूनियर डॉक्टरों का उपचार बीएचयू के सर सुन्दरलाल अस्पताल के स्पेशल वार्ड में किया जा रहा है।

ट्रॉमा सेंटर की चौथी मंजिल स्थित आर्थोपेडिक के वार्ड को भी खाली करा दिया गया है। वार्ड का सेनेटाइजेशन किया जा रहा है। ट्रॉमा सेंटर के रेड जोन, एक्स-रे और इमरजेंसी ऑपरेशन थिएटर को भी सेनेटाइज किया जा रहा है। आर्थोपेडिक वार्ड के डॉक्टर रेड जोन में भी ड्यूटी देते हैं। एक्स-रे और प्लास्टर कक्ष के साथ ही वह इमरजेंसी ऑपरेशन थिएटर में भी काम करते हैं।

आर्थोपेडिक के ऑपरेशन थिएटर का सेनेटाइजेशन व फ्यूमीगेशन कराने और कल्चर रिपोर्ट के बाद खोला जाएगा। सूत्रों की मानें तो आर्थोपेडिक विभाग के एक सीनियर डॉक्टर में भी कोरोना के लक्षण दिख रहे है। इनका सैम्पल जांच को भेजा गया है। वह अपने घर में ही क्वांरटीन हैं। आर्थोपेडिक वार्ड में शिफ्ट बदल कर काम करने वाले स्टाफ नर्स, वार्ड ब्वाय, हाउस कीपिंग के कर्मचारियों को भी क्वारंटीन किया गया है।

आर्थोपेडिक विभाग के अध्यक्ष प्रो. अनिल राय के अनुसार आर्थोपेडिक वार्ड को सेनेटाइज कर बंद कर दिया गया है। कल्चर रिपोर्ट के बाद ऑपरेशन थिएटर खोले जायेंगे। आर्थो के 13 जूनियरों को क्वारंटीन किया गया है।

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