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मोबाइल ने आम आदमी को दुनिया से जोड़ाः डॉ. धनंजय चोपड़ा

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मोजो कार्यशाला ज्ञान प्रदान करने की पहलः प्रो. वंदना सिंह

पीयू में ‘मोजो, मीडिया लेखन एवं फोटोग्राफी’ कार्यशाला का शुभारंभ

जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के जनसंचार एवं पत्रकारिता विभाग द्वारा आयोजित पांच दिवसीय ‘मोजो मीडिया लेखन एवं फोटोग्राफी’ विषयक कार्यशाला का उद्घाटन सोमवार को आर्यभट्ट सभागार में किया गया। यह कार्यशाला पंजाब नेशनल बैंक के सहयोग से किया जा रहा है।

मुख्य अतिथि इलाहाबाद विश्वविद्यालय प्रयागराज के सेंटर आफ मीडिया स्टडीज के समन्वयक डॉ. धनंजय चोपड़ा ने मोजो (मोबाइल जर्नलिज्म) की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए कहा कि वर्तमान डिजिटल युग में पत्रकारिता का स्वरूप तेजी से बदल रहा है। अब मोबाइल ही एक संपूर्ण न्यूज़रूम बन गया है, जिसमें लेखन, वीडियो निर्माण और फोटोग्राफी का विशेष योगदान है। आज मोबाइल ने आम आदमी को दुनिया से जोड़ दिया है। उन्होंने विद्यार्थियों को इस तकनीक में दक्ष बनने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि बदलती हुई दुनिया में सबके निशाने पर मीडिया ही है। 1995 से लेकर 2025 तक के टेक्नालाजी के बदलाव और मीडिया की स्थिति पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि अब हर किसी के पास शब्द का अभाव हो रहा है। मोबाइल ने सारी दुनिया को मुट्ठी में कर लिया है। उन्होंने कहा कि नवाचार का युग आ गया है जो पढ़ेगा वहीं बढ़ेगा, वहीं रचेगा, वहीं टिकेगा। उन्होंने विद्यार्थियों को किताब के साथ समाज, सिनेमा और देश में बदलाव को भी पढ़ने ओर समझने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि संवेदनाओं के साथ टेक्नालॉजी का उपयोग करें। विशिष्ट अतिथि पीएनबी के राजभाषा अधिकारी सुशांत शर्मा ने विषय प्रवर्तन करते हुए कहा कि मोबाइल जितना सशक्त है हमें उससे उतना सतर्क भी रहने की भी जरूरत है। उनका मानना है कि हर युग में गलत, सही का निर्णय करने वाली एक संस्था होती है। इस युग में उस संस्था के रूप में मीडिया लोकतंत्र के चौथे स्तम्भ के रूप में कार्य कर रही है। उन्होंने मोबाइल का उपयोग दायित्व और आत्मबोधन के रूप करने की सलाह दी। कारण एक गलत, सनसनी मेसेज भूचाल ला सकता है।

अध्यक्षता कर रही कुलपति प्रो. वंदना सिंह ने कहा कि ‘मोजो मीडिया लेखन एवं फोटोग्राफी’ कार्यशाला विद्यार्थियों को व्यावहारिक ज्ञान प्रदान करने के लिए एक महत्वपूर्ण पहल है। कुलपति ने छात्रों को सलाह दी कि सोशल मीडिया पर कोई भी कंटेंट पोस्ट और फार्वड करने से पहले उसके सत्यता की जांच कर लें। आयोजन समन्वयक एवं विभागाध्यक्ष प्रो. मनोज मिश्र ने अतिथियों का स्वागत किया। कहा कि आज के समय में मीडिया का स्वरूप बहुआयामी हो गया है, जहां पारंपरिक पत्रकारिता के साथ-साथ डिजिटल मीडिया का प्रभाव भी बढ़ा है। उन्होंने विद्यार्थियों से कहा कि पत्रकारिता में न केवल तकनीकी कौशल बल्कि नैतिकता और सत्यनिष्ठा का भी विशेष महत्व है। इसी को लेकर यह कार्यशाला आयोजित की गई है।

कुलसचिव महेंद्र कुमार और परीक्षा नियंत्रक डॉ. विनोद सिंह ने कार्यशाला के उद्देश्यों पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्वलन एवं सरस्वती वंदना के साथ हुआ।

कार्यक्रम का संचालन डा दिग्विजय सिंह राठौर और धन्यवाद ज्ञापन डॉ. सुनील कुमार ने किया। उद्घाटन सत्र के बाद पहले दिन विशेषज्ञों द्वारा ‘मोजो के विविध आयाम पर व्याख्यान दिया गया। इस अवसर पर प्रो. सौरभ पाल, प्रो. अजय प्रताप सिंह, प्रो. अजय द्विवेदी, प्रो. प्रमोद यादव, प्रो. बीडी शर्मा, डॉ. रसिकेश, डॉ. अमरेंद्र सिंह, डॉ. जाह्नवी श्रीवास्तव, डॉ. चंदन सिंह, कर्मचारी संघ के अध्यक्ष नंद किशोर सिंह, डॉ. सोनम झॉ. डॉ. प्रियंका जायसवाल, डॉ. अमित मिश्र, डॉ. सुरेंद्र यादव, डॉ. मुनींद्र सिंह, डॉ. सुधाकर शुक्ला,डॉ. विकास चौरसिया, अजय मौर्य आदि उपस्थित थे।

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