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नाबालिग से हैवानियत : 14 साल की उम्र में बन रही थी हवस का शिकार

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चाची ने दी गर्भपात कराने की सलाह

औरैया। औरैया जिले के बिधूना कस्बे में बाबा, पिता और चाचा रिश्तों को तार-तार करते हुए नाबालिग से एक साल तक हैवानियत करते रहे तो चाची, दादी ने चुप्पी साध ली। नाबालिग की मौसी ने आरोप लगाया है कि गर्भवती होने पर चाची ने दवा देकर गर्भपात की सलाह दी थी। यहां तक तीनों आरोपी हत्या की साजिश रच रहे थे। बृहस्पतिवार को 14 साल की नाबालिग ने बिधूना थाने में बाबा, पिता और चाचा पर दुष्कर्म करने की रिपोर्ट लिखाई है। इसमें पीड़िता के दो माह के गर्भ से हो जाने की बात ने सभी को झकझोर दिया है।

नाबालिग के साथ दूसरी मां के रूप में मौसी खड़ी नजर आईं। नाबालिग की मौसी ने बताया कि नाबालिग की मां को ससुरालीजनों ने बहुत परेशान किया था। दस साल पहले बेटे और बेटी को लेकर वह दिल्ली चली गई थी। लेकिन रिश्तेदारों से लेकर किसी सगे संबंधी ने भी हस्तक्षेप नहीं किया।

यह लोग नाबालिग व उसके बड़े भाई को चार साल पहले दिल्ली से ले आए। हैवान बना बाबा खेत में पौत्री को दबोचता था। पिता हाथ-पैर बांधकर दरिंदगी करता और चाचा कमरे में बंद करके दुष्कर्म करता था। जबकि घर में नाबालिग की दादी और चाची भी हैं।

रिपोर्ट में बताया गया है कि पिछले एक साल से नाबालिग हैवानियत की शिकार थी। नाबालिग ने व्यथा दादी व चाची को बताई लेकिन वह भी कुछ भी नहीं बोलीं। नाबालिग के गर्भवती होने पर चाची ने दवा देकर गर्भपात कराने की सलाह दे रही थी। बाबा, पिता और चाचा ने नाबालिग के गर्भ से हो जाने की जानकारी पर जान से मारने की साजिश भी रची।

हालांकि, वह समय रहते मौसी के पास जा पहुंची। मौसी के मुताबिक 22 दिसंबर को वह उसके पास आई। पीड़िता ने उन्हें आपबीती सुनाई। मौसी ने बताया कि नाबालिग का बड़ा भाई चंडीगढ़ में पत्थर फैक्टरी में काम करने गया था। जानकारी होने पर अब वह लौट आया है। वह दादी-चाची के पास है।

पीड़िता की मौसी ने बताया कि ग्राम पंचायत में परिषदीय स्कूल है। इन लोगों ने नाबालिग का दाखिला तो कक्षा चार में करा दिया, पर कभी स्कूल जाने नहीं दिया। पीड़िता किसी बाहरी शख्स से बात करती या बाहर जाती तो हैवानियत का राज खुल जाता। यहां तक शिक्षक घर-घर पहुंचकर सर्वे करते हैं, लेकिन पीड़िता तक स्कूल चलो अभियान नहीं पहुंचा।

नाबालिग की मौसी ने बताया कि दिल्ली में उसकी बहन 10 साल से रह रही थी। डेढ़ माह पहले उसका दिल्ली में देहांत हो गया था। पुलिस की ओर से परिजनों को सूचना दी गई थी, लेकिन कोई भी शव लेने नहीं गया। ऐसे में पुलिस ने लावारिस में उसका अंतिम संस्कार कर दिया था। औरैया जिले में अपनी मौसी के साथ गुरुवार शाम बिधूना कोतवाली पहुंची 12 वर्षीय किशोरी ने अपने बाबा, पिता और चाचा पर दुष्कर्म का आरोप लगाते हुए तहरीर दी। उसने दो माह की गर्भवती होने की भी बात बताई। इस पर हरकत में आई पुलिस ने किशोरी से तहरीर लेकर पूछताछ शुरू की। वहीं, उच्चाधिकारियों ने मामला संज्ञान में आने पर आरोपियों पर रिपोर्ट दर्ज करने का आदेश दिया।

पुलिस ने पीड़िता को मेडिकल परीक्षण के लिए भेजते हुए आरोपियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज की है। बिधूना क्षेत्र के एक गांव निवासी किशोरी के 40 वर्षीय पिता किसानी करते हैं। बाबा (60), चाचा (35) बकरियां चराते हैं। पीड़िता ने कोतवाली पहुंचकर पुलिस को बताया कि उसके पिता, बाबा और चाचा उसकी मां का शारीरिक शोषण करते थे।

इसके चलते कुछ समय पहले मां उसे साथ लेकर दिल्ली चली गई थी। कुछ समय पहले पिता और चाचा दिल्ली पहुंचकर उसे अपने साथ गांव ले आए। आरोप है कि करीब एक साल से अक्सर बाबा खेत में, चाचा कमरे में अकेला पाकर और पिता ने हाथ-पैर बांधकर जबरन उससे दरिंदगी शुरू कर दी।

किसी से कुछ भी बताने पर जान से मारने की धमकी दी। इसके चलते उसने किसी से कुछ नहीं बताया और सब कुछ सहती रही। हाल ही में उसे पता चला कि वह दो माह की गर्भवती है। यह बात तीनों आरोपियों को पता चली तो उन्होंने पीटना शुरू किया। हत्या की योजना बनाना शुरू कर दी।

इस बीच किशोरी ने हिम्मत जुटाकर दिबियापुर में रहने वाली अपनी मौसी के यहां पहुंचकर उन्हें सारी बात बताई। इसके बाद गुरुवार को मौसी नाबालिग को साथ लेकर कोतवाली पहुंची और रिपोर्ट दर्ज कराई। पुलिस ने आरोपी पिता और चाचा को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है।

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