दुष्कर्म मामले में सांसद राकेश राठौर को हाईकोर्ट से बड़ी राहत, सभी कार्यवाहियों पर लगी अंतरिम रोक
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लखनऊ। यूपी के सीतापुर से कांग्रेस सांसद राकेश राठौर को इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ पीठ से दुष्कर्म के मामले में बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने सीतापुर के ट्रायल कोर्ट में उनके खिलाफ चल रही सभी कार्यवाहियों पर मामले की अगली सुनवाई तक रोक लगा दी है। मामले को 28 जुलाई से शुरू होने वाले सप्ताह में सूचीबद्ध करने का आदेश दिया है।
न्यायमूर्ति सुभाष विद्यार्थी की एकल पीठ ने यह आदेश राकेश राठौर द्वारा दाखिल पुनरीक्षण याचिका पर दिया। इसमें ट्रायल कोर्ट के बीती पांच मई के उस आदेश को चुनौती दी गई थी। इसमें राठौर को दुष्कर्म मामले से आरोपमुक्त करने की अर्जी खारिज कर दी गई थी। कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई तक पांच मई के इस आदेश पर भी रोक लगा दी है।
अभियोजन और सरकारी वकील ने दी दलीलें
राठौर के अधिवक्ता का कहना था कि अभियोजन के आरोप आधारहीन हैं, क्योंकि, तथ्यों से कथित दुष्कर्म की घटना सही नहीं है। उधर, सरकारी वकीलों ने यह कहकर याचिका का विरोध किया कि मामले में अभियुक्त राठौर के खिलाफ ठोस साक्ष्य हैं, जिनका मूल्यांकन अभी आरोप तय करने के स्तर पर नहीं किया जा सकता।
कोर्ट ने मामले के तथ्यों के मद्देनजर याचिका पर अगली सुनवाई तक के लिए ट्रायल कोर्ट में राठौर के खिलाफ इस मामले में चल रही सभी कार्यवाहियों पर रोक लगा दी है। कोर्ट ने पुनरीक्षण याचिका विचारार्थ मंजूर कर मामले में राज्य सरकार समेत पक्षकारों को जवाब दाखिल करने को दो सप्ताह का समय दिया है।
मामले में सांसद राठौर जमानत पर हैं
अभियोजन के मुताबिक एक 49 वर्षीय विवाहित महिला ने 17 जनवरी 2025 को कोतवाली सीतापुर में राठौर के खिलाफ एफ आई आर दर्ज करवाकर आरोप लगाया है कि उन्होंने चार साल से उसका यौन उत्पीड़न किया। इस मामले में राठौर जमानत पर हैं।
